कोचिंग डिपो में लग रही स्वचलित कोच वाशिंग प्लांट, ट्रेनों की धुलाई के दौरान होगी समय और पानी की बचत….
(भूपेंद्र सिंह राठौर) : बिलासपुर – बिलासपुर डिवीजन के कोचिंग डिपो में एक स्वचालित कोच वाशिंग प्लांट लगाया जा रहा है। इस ऑटोमेटिक यंत्र से ट्रेनों की धुलाई के दौरान समय, पानी और मानव श्रम कि बचत होगी।
वॉशिंग लाइन में अब महज दस मिनट में ही ट्रेनों की सफाई हो जाएगी। इस दौरान ट्रेनों की साफ सफाई में खर्च होने वाले पानी की भी काफी बचत होगी। अभी एक कोच की धुलाई में औसतन एक हजार लीटर पानी खर्च होता है दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे के पहले ऑटोमेटिक कोच वाशिंग प्लांट का कार्य शुरू कर लिया गया है।अत्याधुनिक ऑटोमेटिक कोच वॉशिंग प्लांट के प्लांटेशन का कार्य विगत वर्ष शुरू किया गया था। जिसका काम लगभग पूरा होने कगार में है। हालही में मेंन पावर से कोच की घुलाई की जाती है अब यह मशीन महज 10 मिनट में ही ट्रेन के 24 कोच की धुलाई कर सकता है। इससे 90 फीसद पानी की बचत होती है। प्लांट की एक और खासियत यह है कि इसके माध्यम से पानी को रीसाइकिल कर उपयोग में लिया जा सकता है। साथ ही इसमें सीसीटीवी भी लगाया जा रहा है। जो ट्रेन के कोचों पर निगरानी रखेगी । इस मशीन में सेंसर लगा है,सेंसर इसके चलने का सही समय निर्धारित करता है। मशीन में बेलनाकार ब्रश, क्लीनिंग केमिकल की मदद से अधिकतम आठ किमी की रफ्तार से चल रही ट्रेन की सफाई की जा सकती है। यह ऑटोमेटिक कोच वाशिंग प्लांट पानी की खपत को काफी कम कर देता है। इसका इनबिल्ट एफ्लुएंट ट्रीटमेंट प्लांट इस मशीन में उपयोग किए जाने वाले लगभग 90 फीसद पानी को रीसाइकिल कर देता है। इससे पानी की खपत काफी कम हो जाती है। यानी कि एक कोच में महज 100 लीटर पानी ही इसके माध्यम से खर्च होगा। जल्द ही इस सुविधा का लाभ बिलासपुर जोन मिलने लगेगा।