छत्तीसगढ़

बैठक में शामिल होने अचानक दिल्ली पहुंचे अरुण साव….

रायपुर :  भाजपा में दूसरी सूची को लेकर हुए तनाव के बीच गुरुवार सुबह अचानक प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव दिल्ली पहुंचे। खबर है कि छत्तीसगढ़ संगठन के कुछ और नेताओं को भी साव के साथ दिल्ली बुलाया गया है। केंद्रीय नेतृत्व अचानक चुनावी मामले पर एक बैठक करने जा रहा है।

अरुण साव के यूं अचानक दिल्ली रवाना होने को लेकर कई तरह की चर्चाएं हैं। खबर यह भी सामने आ रही है कि संगठन में पिछले दिनों टिकट बंटवारे को लेकर मचे घमासान की वजह से नाराजगी है। इस मामले पर चर्चा करने के लिए प्रदेश अध्यक्ष साव को दिल्ली बुलाया गया।

केंद्रीय चुनाव समिति के राष्ट्रीय नेताओं के साथ-साथ छत्तीसगढ़ चुनाव संचालन की जिम्मेदारी संभाल रहे ओम माथुर, मनसुख मंडाविया भी साव के साथ गुरुवार को होने वाली बैठक में शामिल हो सकते हैं।

समाज और कार्यकर्ता जता चुके हैं नाराजगी

सोशल मीडिया पर प्रत्याशियों के संभावित नाम वायरल होने के बाद कई तरह की प्रतिक्रियाएं देखने को मिल रही हैं। गुजराती और सिंधी समाज के लोगों ने ओम माथुर को चिट्ठी लिखकर कह दिया कि हमारे समाज के लोगों को टिकट दिया जाए। धरसींवा से अनुज शर्मा और साजा से ईश्वर साहू जैसे लोगों के नाम सामने आने के बाद स्थानीय नेताओं ने इसका विरोध शुरू कर दिया है।

केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह शामिल हुए थे।
विरोध में अनुज शर्मा का पुतला भी जलाया गया। इसके बाद विरोध करने वाले लोग प्रदेश स्तर के नेताओं से मुलाकात करने पहुंच गए और उनका घेराव कर दिया। यह स्थिति भी संगठन में पसंद नहीं की जा रही हैं।

पिछली बैठक में पीएम नरेंद्र मोदी शामिल थे

1 अक्टूबर को केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक नई दिल्ली में हुई थी। इसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह शामिल थे। बैठक में प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव, डॉ रमन सिंह और नारायण चंदेल जैसे नेता शरीक हुए थे।

केंद्रीय नेतृत्व के सामने हो चुका है प्रेजेंटेशन

सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, जब नाम तय किए जा रहे थे, तो केंद्रीय नेताओं को प्रत्याशियों की तस्वीर दिखाई गई, उनका पूरा बायोडाटा दिखाया गया, उनकी छवि के बारे में जानकारी दी गई। समाज में उनका कितना असर है, इसके बारे में भी बताया गया। क्यों वे जीतने वाले कैंडिडेट साबित हो सकते हैं, इसके हर पहलू को राष्ट्रीय नेताओं को समझाया गया

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