किसान आंदोलन में कितने किसानों की मौत हुई..? ये केंद्र सरकार को नहीं पता, उसके पास कोई रिकॉर्ड नहीं..फिर मुआवजा कैसा..?
(शशि कोन्हेर) : नई दिल्ली – सरकार का कहना है कि तीन कृषि कानूनों के खिलाफ हुए आंदोलन के दौरान हुई किसानों की मौत का कोई रिकार्ड मौजूद नहीं है। ये जवाब कृषि मंत्रालय की तरफ से संसद में दिया गया है। ये बयान उस सवाल के जवाब में दिया गया है जिसमें पूछा गया था कि क्या सरकार इस आंदोलन में मारे किए किसानों के परिजनों को किसी तरह वित्तीय मदद उपलब्ध कराने के बारे में विचार कर रही है या नहीं। इसके जवाब में साफ कर दिया गया है आंदोलन में किसानों के मारे जाने का कोई रिकार्ड सरकार के पास नहीं है। सरकार के इस जवाब पर मल्लिकार्जुन खड़गे ने नाराजगी जताते हुए कहा है कि सरकार ने ये बयान देकर किसानों का अपमान किया है। खड़गे ने कहा है कि कृषि कानूनों के खिलाफ हुए आंदोलन में 700 से अधिक किसान मारे गए हैं। सरकार ऐसा कैसे कह सकती है कि उनके पास इसका कोई रिकार्ड नहीं है।
शीतकालीन सत्र के तीसरे दिन सरकार से ये सवाल लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने पूछा था। इस बीच किसानों ने एक बार फिर से अपनी मांगें दोहराते हुए कहा है कि इस आंदोलन में मारे गए किसानों को सरकार की तरफ से मुआवजा राशि दी जानी चाहिए।